(15+) New Sad Shayari - सेड सायरी
Sad Shayari / सेड सायरी
दुश्मनो की अब किसे जरूरत है अपने ही काफी है दर्द देने के लिएखामोशियां कभी बेवजह नहीं होती कुछ दर्द ऐसे भी होते है जो आवाज़ छीन लेती हैहँसता हूँ पर दिल में गम भरा है याद में तेरे दिल आज भी रो पड़ा हैमोहब्बत में हम उन्हें भी हारे है जो कहते थे हम सिर्फ तुम्हारे हैऐ ज़िन्दगी ख़त्म कर सांसों का आना जाना मै थक चूका हूँ खुद को ज़िंदा समझते समझतेमोहब्बत है या नशा था जो भी था कमाल का था रूह तक उतारते उतारते जिस्म को खोखला कर गयाकहाँ मिलता है अब कोई समझने वाला जोभी मिलता है समझा के चला जाता हैकिसी को कितना भी प्यार दे दो आखिर में उसे थोड़ा कम ही लगता हैवक़्त से पहले हादसों से लड़ा हूँ मै अपनी उम्र से कई साल बड़ा हूँ
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